tHe Missed Beat
Friday, 12 August 2022
मेरी गली में वो चाँद जलवानुमा सा है..,
तेरी यादो का कुछ धुँवा सा हैं,
मेरी गली में वो चाँद जलवानुमा सा है,
आँखे जैसे सूरज की पहली किरण,
तेरा चेहरा जैसा दुवा सा हैं,
नदिया गिरती रही मौजे जुड़ती रही,
बोझ वही अब भी दिल पे धरा सा है
दिन निकलता हैं ना कालिया खिलती है,
चंद रोज़ से वो शोख़ खफ़ा सा है....
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